उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में कांवड़ यात्रा के दौरान हुई हिंसा को लेकर मीडिया द्वारा किए जा रहे कवरेज पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि कुछ मीडिया संस्थान इस मुद्दे पर "मीडिया ट्रायल" चला रहे हैं और तथ्यों को तोड़-मरोड़कर प्रस्तुत कर रहे हैं।

योगी आदित्यनाथ ने आरोप लगाया कि कांवड़ यात्रा में भाग ले रहे श्रद्धालुओं को जानबूझकर बदनाम किया जा रहा है, जबकि सच्चाई इससे बिल्कुल अलग है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए पूरी ताकत लगाई है और किसी भी अराजकता को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

सीएम योगी के बयान के बाद यह मुद्दा एक बार फिर राजनीतिक बहस का केंद्र बन गया है। विपक्ष ने मुख्यमंत्री पर सवाल उठाते हुए कहा कि जब राज्य में हिंसा हो रही है, तब सरकार को जवाबदेह होना चाहिए, न कि मीडिया को दोष देना चाहिए।

कांग्रेस और सपा नेताओं ने कहा कि अगर कानून-व्यवस्था की स्थिति खराब है तो उसकी जिम्मेदारी सरकार की है, और मीडिया का काम है कि वह सच्चाई को उजागर करे।

दूसरी ओर, भाजपा नेताओं ने योगी आदित्यनाथ का बचाव करते हुए कहा कि कुछ मीडिया घराने कांवड़ यात्रा जैसे धार्मिक आयोजन को बदनाम करने की साजिश कर रहे हैं।

'न्यूजट्रैक विद राहुल कंवल' कार्यक्रम में इस मुद्दे पर गहन चर्चा हुई, जिसमें पक्ष-विपक्ष दोनों के वक्ताओं ने अपने-अपने तर्क रखे। कार्यक्रम के दौरान यह बात सामने आई कि कांवड़ यात्रा के दौरान कुछ स्थानों पर हिंसा भड़की जरूर थी, लेकिन प्रशासन ने तुरंत कार्रवाई कर हालात पर काबू पाया।

सीएम योगी ने मीडिया से संयम और जिम्मेदारी से रिपोर्टिंग करने की अपील की, ताकि धार्मिक भावनाओं को ठेस न पहुंचे और अफवाहों से बचा जा सके।

फिलहाल राज्य सरकार इस मामले की जांच कर रही है, और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का आश्वासन दिया गया है